आलू का उद्गम दक्षिण अमेरिका में हुआ था और 17वीं शताब्दी के प्रारंभ में इसने पुर्तगालियों के माध्यम से भारत में प्रवेश किया। उन्होंने तंबाकू, अनानास, पपीता, मक्का, शकरकंद, काजू और लाल मिर्च से भी भारत को परिचित कराया । उनकी कलमकारी तकनीकों से, प्रसिद्ध अल्फ़ांसो सहित आम की नई किस्में विकसित हुईं।
एक प्रसिद्ध चिकित्सक, गार्सिया डी ऑर्टा ने (1561 में प्रकाशित) भारतीय पौधों और खनिजों के औषधीय गुणों तथा स्थानीय रोगों पर एक ऐतिहासिक पुस्तक लिखी।
दुर्भाग्यवश, उनका यहूदी धर्मांतरित परिवार गोवा इन्क्विज़िशन का शिकार हुआ। उनकी बहन को जीवित जला दिया गया। ऑर्टा के शव को कब्र से निकालकर जलाया गया। आज ऑर्टा को पुर्तगाल में एक नायक के रूप में सम्मानित किया जाता है। storytrails.com पर दिखाया गया चित्र लिस्बन में स्थित उनकी प्रतिमा का है।
आलू का उद्गम दक्षिण अमेरिका में हुआ था और 17वीं शताब्दी के प्रारंभ में इसने पुर्तगालियों के माध्यम से भारत में प्रवेश किया। उन्होंने तंबाकू, अनानास, पपीता, मक्का, शकरकंद, काजू और लाल मिर्च से भी भारत को परिचित कराया । उनकी कलमकारी तकनीकों से, प्रसिद्ध अल्फ़ांसो सहित आम की नई किस्में विकसित हुईं।
एक प्रसिद्ध चिकित्सक, गार्सिया डी ऑर्टा ने (1561 में प्रकाशित) भारतीय पौधों और खनिजों के औषधीय गुणों तथा स्थानीय रोगों पर एक ऐतिहासिक पुस्तक लिखी।
दुर्भाग्यवश, उनका यहूदी धर्मांतरित परिवार गोवा इन्क्विज़िशन का शिकार हुआ। उनकी बहन को जीवित जला दिया गया। ऑर्टा के शव को कब्र से निकालकर जलाया गया। आज ऑर्टा को पुर्तगाल में एक नायक के रूप में सम्मानित किया जाता है। storytrails.com पर दिखाया गया चित्र लिस्बन में स्थित उनकी प्रतिमा का है।